शनिवार, 7 मई 2011

मां मुश्किल की घड़ी में .....















मां जब भी कोई पल मुझे तन्हा मिलता है
वो सिर्फ तेरी ही बात कर लिया करता है

तेरा अहसास मेरे साथ चलता है वर्ना ये
मासूम बच्चे सा हर कदम पर डरता है

तेरे साथ होने का जज्बा दिल में इस कदर है,
मन ही मन हर पल तुझे पुकार लिया करता है

तुम कभी दुआ बनती कभी जिन्दगी हो जाती,
तभी तो खुद से ज्यादा ऐतबार तुम पे करता है

मां मुश्किल की घड़ी में तेरा आंचल मेरे लिये,
सुरक्षित कर मुझे रक्षा कवच हो जाया करता है